Skip to playerSkip to main contentSkip to footer
  • 12/19/2024
चेन्नई. तिरुनेलवेली जिले के पलावूर, कडंगल्लूर में सार्वजनिक क्षेत्र में मेडिकल कचरा डाले जाने की खबरें सामने आने के बाद तमिलनाडु पुलिस ने केरल से लगी सीमा चौकियों पर सुरक्षा उपाय बढ़ा दी गई है। कन्याकुमारी, कोयम्बत्तूर, गुडलूर और तेनी समेत आसपास के जिलों में विभिन्न चौकियों पर गश्त बढ़ा दी गई है। तिरुनेलवेली जिला पुलिस ने अवैध तरीके से कचरा डालने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की चेतावनी दी है। पर्यावरण कार्यकर्ताओं का आरोप है कि केरल से बड़ी मात्रा में मेडिकल कचरा अवैध तरीके से ले जाया जा रहा है और तमिलनाडु सीमा में जा रहा है। उन्होंने अधिकारियों से ऐसी खतरनाक गतिविधियों को रोकने के लिए सख्त कदम उठाने का आग्रह किया है। पलावूर पुलिस ने भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस) की धारा 271 और 272 और पर्यावरण संरक्षण अधिनियम के तहत मामला दर्ज किया है। महत्वपूर्ण स्थानों से सीसीटीवी फुटेज का उपयोग कर अपराधियों का पता लगाने का प्रयास किया जा रहा है। तमिलनाडु प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (टीएनपीसीबी) और ग्रामीण विकास विभाग के अधिकारियों ने मामले की गंभीरता का आकलन करने के लिए घटनास्थल का निरीक्षण किया है। यह घटना अवैध कचरा डंपिंग के एक बड़े पैटर्न का हिस्सा है। रिपोर्ट बताती है कि केरल के तिरुवनंतपुरम क्षेत्रीय कैंसर केंद्र और एक निजी अस्पताल से बायोमेडिकल, खाद्य और प्लास्टिक कचरे को तमिलनाडु के कोडगनल्लूर और पलावूर के कई गांवों में डाला जा रहा है। कचरे में इस्तेमाल की गई सिरिंज, पीपीई किट और संवेदनशील व्यक्तिगत जानकारी वाले मेडिकल रिकॉर्ड जैसी खतरनाक सामग्री शामिल हैं, जिससे स्वास्थ्य, पर्यावरण और डाटा सुरक्षा संबंधी चिंता बढ़ गई है। पुलिस का मानना है कि डंपिंग महीनों से चल रही है, अक्सर रात के अंधेरे में की जाती है। कथित तौर पर पास की एक पेपर मिल के लिए सामग्री ले जाने वाले ट्रकों पर इसमें शामिल होने का संदेह है।

खतरनाक डंपिंग ने स्थानीय जल स्रोतों को भी दूषित कर दिया
भूस्वामियों की बार-बार शिकायतों के बावजूद अभी तक कोई महत्वपूर्ण कार्रवाई नहीं की गई है। इस तरह की खतरनाक डंपिंग ने स्थानीय जल स्रोतों को भी दूषित कर दिया है, जिससे पशुधन प्रभावित हुआ है और निवासियों के लिए स्वास्थ्य समस्याएं पैदा हुई हैं। साइट पर मरीजों के विवरण और उपचार योजनाओं सहित संवेदनशील मेडिकल रिकॉर्ड पाए गए, जो निपटान प्रथाओं और डेटा सुरक्षा में गंभीर खामियों को उजागर करते हैं। जिला कलक्टर ने स्थानीय अधिकारियों और टीएनपीसीबी को मामले की जांच करने और एफआईआर दर्ज करने सहित कानूनी कार्रवाई शुरू करने का निर्देश दिया है। हालांकि, इस मामले में अभी तक कोई ठोस प्रगति नहीं हुई है। तमिलनाडु भाजपा प्रदेशाध्यक्ष के. अन्नामलै ने राज्य सरकार की निष्क्रियता की आलोचना करते हुए मुख्यमंत्री एम.के. स्टालिन पर तमिलनाडु के हितों की रक्षा करने में विफल रहने का आरोप लगाया था। भाजपा नेता ने इस मुद्दे का समाधान न होने पर जनवरी 2025 में राज्यव्यापी विरोध प्रदर्शन की चेतावनी दी थी।

Category

🗞
News

Recommended